रांची। राज्य सरकार के द्वारा स्नातकोत्तर प्रशिक्षित शिक्षक प्रतियोगिता परीक्षा पास अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र देने के कार्यक्रम को स्थगित किये जाने के बाद भाजपा के झारखंड विधानसभा चुनाव सह प्रभारी एवं असम के मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि झारखंड में पीजीटी का स्थगित होना राज्य के लाखों युवाओं की जीत है। अंततः सरकार को युवाओं की मांग को स्वीकार करते हुए इसे स्थगित करना पड़ा। उन्होंने मंगलवार को एक्स पर कहा कि नियुक्तियां फ्री और फेयर की जाएं। साथ ही मामले की जांच सीबीआई करे।
स्नातकोत्तर प्रशिक्षित शिक्षक प्रतियोगिता परीक्षा की जांच सीबीआई से करवानी ही होगी: अमर बाउरी
नेता प्रतिपक्ष अमर कुमार बाउरी ने एक्स पर कहा कि सिर्फ स्थगन नहीं, सीबीआई जांच व कड़ी कार्रवाई जरूरी है। युवाओं के भविष्य से झामुमो-कांग्रेस-राजद सरकार को खेलने नहीं दिया जायेगा। राज्य के लाखों युवाओं के हक व अधिकार की लड़ाई जारी रहेगी। बात सिर्फ पीजीटी परीक्षा तक सीमित नहीं है। राज्य में बड़ी साजिश के तहत नियुक्ति घोटाला झामुमो-कांग्रेस-राजद सरकार के संरक्षण में अंजाम दिया गया है। राज्य सरकार इस नियुक्ति घोटाले की जांच सीबीआई को सौंपे और सेटिंग करने और करवाने वालों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई सुनिश्चित करे।
बाउरी ने कहा कि स्नातकोत्तर प्रशिक्षित शिक्षक प्रतियोगिता परीक्षा का नियुक्ति पत्र वितरण कार्यक्रम स्थगित होना झारखंड के लाखों छात्रों की जीत है। इस मामले की जांच राज्य सरकार को सीबीआई से करवानी ही होगी। छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ और किसी भी तरह की नियुक्ति में घोटाला भारतीय जनता पार्टी बर्दाश्त नहीं करेगी। यदि राज्य सरकार ने इस मामले की जांच सीबीआई से नहीं करवाई तो आने वाले समय में राज्य के छात्रों के साथ भारतीय जनता पार्टी सड़क से सदन तक की लड़ाई चरणबद्ध तरीके से लड़ेगी।
उल्लेखनीय है कि झारखंड सरकार ने स्नातकोत्तर प्रशिक्षित शिक्षक प्रतियोगिता परीक्षा पास अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र देने के कार्यक्रम तीन जुलाई को निर्धारित किया था। इसमें 1500 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र दिया जाना था लेकिन इस परीक्षा में हुई गड़बड़ी को लेकर एक तरफ छात्र धरना पर बैठे हैं तो दूसरी तरफ भाजपा ने इस मामले की जांच सीबीआई से करवाने की मांग की थी। इसके बाद मुख्यमंत्री सचिवालय के निर्देश के बाद शिक्षा विभाग ने इस कार्यक्रम को स्थगित कर दिया है।
साभार – हिस